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THE INDIAN COMMUNITY SCHOOL (KHAITAN) KUWAIT हदी-“का -X (final exam sample paper) अधिकतम अंक : 80 धििाारित समय : 3 घंटे कुल पृ: 05 इस न प के चार खड - '', '','' और ''चार खड के न के उतर देना अनवाय ै। थासभव ेक खड के उतर मानुसार दीजिए। पा िाच कर ल क इस न-प म क 17 न । खड - (अपहित बोध) .1. ननललखखत गदाश को ानपूवयक पढ़कर हदए गए के उतर लखखए:- 9. वतंता आंदोलन के समय से ही भारत के कणधार ने वचार करना आरंभ कर दया था वाधीनता के पचात ् भारतीय शासन का या ऱप होगा I वतंता ातके बाद भारत का संववधान तैयार कया गया, जो 26जनवरी,1950 को लागू कर दया गया I इस संववधान की वशेषता यह है इसम सभी देश चललत वैधाननक नयम से भारत के लए उपयोगी उमोम नयम छाटकर रखे गए और इसे सवणेठ बनाने की पुरी चेटा की गई है I भारतीय संववधान 395 अनुछेद , जो 22 भाग वभत I इसम वधान सबधी येक वषय की पट, सरल एवं वत याया की गई है I राय की नीनतय के मुख आधार, नागररक के मौललक अधधकार था जनता को सुखी और सपन बनाने के लसंधात का पट उलेख इस संववधान की वशेषता है Iजनता वारा, जनता के लए, जनता का राय इस संववधान का मूल उदेय है I जनता वारा चुने नतननधधय वारा एक कायणकाररी बनाई जाती है , जो नतननधधय के नत उरदायी होती है था जसका मुख धानमंी होता है I भारतीय संववधान की सवणमुख वशेषता यह इसम मौललक अधधकार का पट वणन कया गया है I संववधान भारत को एक धमणननरपे राय घोवषत कया गया है अथाणत ् भारत का कोई भी नागररक अपनी इछा से कसी भी धमण को अपना सकता है I नागररक को धमणचार की पूरी छू ट है , यदउस चार से सामाजक शांनत यतगत जीवन खतरे हो I सभी नागररक को सामाजक, आधथणक और राजनैनतक याय ातकरने था वचार और ववास को कट करने की वतंता है , कतु राकी एकता भंग करने या रारोह के वचार की वाधीनता नहीं है भारतीय संववधान अपने नागररक को सभी राजनीनतक वचार को मानने की छू ट देता I संववधान वयक यतय को मतदान का अधधकार ातहै , जसकी सहायता से वे शासन के संचालन भाग ले सकते I येक -पुरष को समान अधधकार दए गए I लश-संथा से लेकर सरकारी नौकरी तक धमण , जानत, वगण या रंग-भेद के आधार पर कसी यत कोई अंतर नहीं समझा जाता है I भारतीय संववधान लखखत होते भी संशोधन करने योय है I संसद के दो-नतहाई सदय के बह मत से या सामाय नयम की तरह संसद के साधार बह मत से साधार संशोधन कराए जा सकते , कतु महवपूण संशोधन के लए आधे राय की पुट भी आवयक होती है I [] भारती सववधान का मूल उदे ? 2 [] भारती सववधान की वशेषताए ? 2 [] सववधान नागररक को अधधकार हदए गए ? 2

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  • THE INDIAN COMMUNITY SCHOOL (KHAITAN) KUWAIT

    ह िंदी-“ब” कक्षा -X (final exam sample paper)

    अधिकतम अकं : 80 धििाारित समय : 3 घटें कुल पृष्ठ: 05 इस प्रश्न पत्र के चार खिंड ैं- 'क', 'ख','ग' और 'घ'। चारों खण्डों के प्रश्नों के उत्तर देना अननवार्य ै। र्थासिंभव प्रत्रे्क खिंड के उत्तर क्रमानसुार दीजिए।

    कृपर्ा िााँच कर लें कक इस प्रश्न-पत्र में कुल 17 प्रश्न ैं । खिंड - ‘क’ (अपहित बोध)

    प्र.1. ननम्नललखखत गदर्ािंश को ध्र्ानपूवयक पढ़कर हदए गए प्रश्नों के उत्तर ललखखए:- 9.

    स्वतंत्रता आंदोलन के समय से ही भारत के कर्णधारों ने ववचार करना आरंभ कर ददया था कक स्वाधीनता के पश्चात ्भारतीय शासन का क्या रूप होगा I स्वतंत्रता प्राप्तत के बाद भारत का संववधान तैयार ककया गया, जो 26जनवरी,1950 को लागू कर ददया गया I इस संववधान की ववशेषता यह है कक इसमें सभी देशों में प्रचललत वैधाननक ननयमों से भारत के ललए उपयोगी उत्तमोत्तम ननयम छााँटकर रख ेगए हैं और इसे सवणशे्रष्ठ बनाने की पुरी चषे्टा की गई है I भारतीय संववधान में 395 अनुच्छेद हैं, जो 22 भागों में ववभक्त हैं I इसमें ववधान सम्बन्धी प्रत्येक ववषय की स्पष्ट, सरल एव ं ववस्ततृ व्याख्या की गई है I राज्य की नीनतयों के प्रमुख आधार, नागररकों के मौललक अधधकार था जनता को सुखी और सम्पन्न बनाने के लसदं्धातों का स्पष्ट उल्लेख इस संववधान की ववशेषता है Iजनता द्वारा, जनता के ललए, जनता का राज्य इस संववधान का मूल उद्देश्य है I जनता द्वारा चुने हुए प्रनतननधधयों द्वारा एक कायणकाररर्ी बनाई जाती है, जो प्रनतननधधयों के प्रनत उत्तरदायी होती है था प्जसका प्रमुख प्रधानमंत्री होता है I भारतीय संववधान की सवणप्रमुख ववशेषता यह कक इसमें मौललक अधधकारों का स्पष्ट वर्णन ककया गया है I संववधान में भारत को एक धमणननरपेक्ष राज्य घोवषत ककया गया है अथाणत ्भारत का कोई भी नागररक अपनी इच्छा से ककसी भी धमण को अपना सकता है I नागररकों को धमणप्रचार की पूरी छूट है, यदद उस प्रचार से सामाप्जक शांनत व्यप्क्तगत जीवन खतरे में न हो I

    सभी नागररकों को सामाप्जक, आधथणक और राजनैनतक न्याय प्रातत करन े था ववचारों और ववश्वासों को प्रकट करन े की स्वतंत्रता है, ककन्तु राष्र की एकता भंग करने या राष्रद्रोह के ववचारों की स्वाधीनता नहीं है भारतीय संववधान अपने नागररकों को सभी राजनीनतक ववचारों को मानने की छूट देता हैं I संववधान में वयस्क व्यप्क्तयों को मतदान का अधधकार प्रातत है, प्जसकी सहायता से वे शासन के संचालन में भाग ले सकत ेहैं I प्रत्येक स्त्री-पुरुष को समान अधधकार ददए गए हैं I लशक्षर्-संस्था से लेकर सरकारी नौकरी तक में धमण, जानत, वगण या रंग-भेद के आधार पर ककसी व्यप्क्त में कोई अंतर नहीं समझा जाता है I भारतीय संववधान ललखखत होत ेहुए भी संशोधन करन ेयोग्य है I संसद के दो-नतहाई सदस्यों के बहुमत से या सामान्य ननयम की तरह संसद के साधारर् बहुमत से कुछ साधारर् संशोधन कराए जा सकत ेहैं, ककन्तु महत्वपूर्ण संशोधनों के ललए आधे राज्यों की पुप्ष्ट भी आवश्यक होती है I

    [क] भारतीर् सिंववधान का मूल उद्देश्र् क्र्ा ै? 2

    [ख] भारतीर् सिंववधान की ववशेषताएाँ क्र्ा ैं? 2

    [ग] सिंववधान में नागररकों को क्र्ा अधधकार हदए गए ैं? 2

  • [घ] भारतीर् सिंववधान में सिंशोधन ककस प्रकार ककरे् िा सकत े ैं? 2

    [ङ] गदर्ािंश को उधचत शीषयक दीजिए I 1

    प्र.2 ननम्नललखखत पदर्ािंश को पढ़कर पछेू गए प्रश्नों के स ी उत्तर ललखखए-6

    मेघ आए, बड़ ेबन-ठन के साँवर के I

    बूढ़े पीपल न ेआगे बढकर जुहार की I ‘बरस बाद सुधध लीन्ही’-

    आगे-आगे नाचती- गाती बयार चली, बोली अकुलाई लता, ओट हो ककवार की,

    दरवाजे, खखड़ककयााँ खुलने लगीं गली–गली, हरसाया ताल लाया पानी परत भर के ,

    पाहुन ज्यों आए हों गााँव में शहर के ! मेघ आए बड़ ेबन-ठन के साँवर के I

    मेघ आए बड़ ेबन-ठन के साँवर के ! क्षमा करो गााँठ खुल गई अब भरम की,

    पेड़ झकुकर झााँकन ेलगे गरदन उचकाए, बांध टूटा झर-झर लमलन अश्रु ढरके,

    आाँधी-चली धूल भागी घाघरा उठाए, मेघ आए बड़ ेबन-ठन के स्वर के I

    बााँकी धचतबन उठा, नदी दठठकी घूाँघट सरके, मेघ आए बड़ ेबन-ठन के साँवर के !

    [क] प्रस्तुत कावर्ािंश में ककस समर् का वर्यन ककर्ा गर्ा ै ? 1.

    [ख] बर्ार चलने पर क्र्ा ुआ ? 2.

    [ग] मेघों के आगमन का प्रकृनत पर क्र्ा प्रभाव पड़ा ? 2.

    [घ] कावर्ािंश का उधचत शीषयक दीजिए I 1.

    खिंड-‘ख’(वर्व ाररक वर्ाकरर्)

    प्र.3. (क) शब्द ककसे क त े ैं? उदा रर् सह त ललखखए I 1.

    (ख) “शार्द कोई आर्ा ै”? वाक्र् में सवयनाम पद चुनकर ललखखए I 1.

    प्र.4. ननदेशानुसार वाक्र् रूपािंतरर् दीजिए: 1x3=3

    (क) सभा समातत हुई और लोग घर चले गए I[रचना के आधार पर वाक्य का भेद बताइए ] 1.

    (ख) मैं स्टेशन पर पहुाँचा और गाड़ी चल दी I [लमश्र वाक्य बनाइए] 1.

    (ग) बादल छाँटे और सूयण ननकल आया I [सरल वाक्य में] 1.

    प्र.5. ननदेशानुसार उत्तर दीजिए: 1x4=4

  • (क) ‘पथभ्रष्ट’ पद का ववग्रह कर समास का नाम ललखखए I 1.

    (ख) ‘महादेव’ पद का ववग्रह कर समास का नाम ललखखए I 1.

    (ग) “चार राहों का समूह” समस्त-पद बनाकर भेद ललखखए I 1.

    (घ) “आज और कल” का समस्त-पद बनाकर समास का नाम ललखखए I 1.

    6. ननम्नललखखत वाक्र्ों को शुद्ध कर के पुन: ललखखए: 1x4=4

    (क) हम आपसे कहे थे I 1.

    (ख) एक गीतों की ककताब ला दीप्जए I 1.

    (ग) घोषर्ा की स्वतंत्रता ददवस की प्रधानमंत्री मोदी ने I 1. .

    (घ) सच बच्चों में बोलने की डालनी चादहए आदत I 1.

    प्र.7. ननम्नललखखत वाक्र्ों की पूनतय उधचत मु ावरों दवारा कीजिए: 1x2=2

    (क) अत्यंत पररश्रम करन ेके बाद भी आतंकवादी पुललस के------------ न आया I 1.

    (ख) जायदाद के ललए मामा जी ने बाप बेटे के बीच ------------------------कर दीI 1.

    खिंड-‘ग’ (पाठ्र्पुस्तक से)

    प्र.8 ननम्नललखखत प्रश्नों के उत्तर ललखखए: (5)

    [क] सवार के जाने के बाद कनणल क्यों हक्का-बक्का रह गया? 2

    [ख] जापान में चाय पीने की ववधध को क्या कहा जाता है? इस में ककतने आदलमयों को प्रवशे ददया जाता है? 2

    [ग] कार-ननकोबार के दो टुकड़ ेहो जाने पर वहााँ कौन-सा सुखद पररवतणन आया? 1

    प्र.9 धगरधगट कहानी में समाज की ककन ववसंगनतयों पर व्यंग्य ककया गया है; क्या आप उन ववसंगनतयों को अपने समाज में भी देखत ेहो? उनके ननराकरर् के ललए उधचत सुझाव दीप्जए? 5.

    अथवा

    आपन ेतीसरी कसम के लशल्पकार पाठ पढ़ा, किल्म जगत में अलभनय के अनतररक्त ककतनी तरह के कामों की सम्भावना आपको ददखाई देती है? यदद आपके सामने ववकल्प हो तो आप क्या चुनना चाहोगे? क्यों?

    प्र.10 ननम्नललखखत प्रश्नों के उत्तर ललखखए: (5)

    [क] ‘मनुष्यता’,कववता के आधार पर ललखखए कक कवव ने सबसे बड़ा वववेक ककसे कहा है और क्यों? 2

  • [ख] बबहारी कवव के अनुसार ईश्वर का वास कहााँ होता है? 2

    [ग] ‘सर दहमालय का हमने न झुकने ददया’, इस पंप्क्त में दहमालय ककस बात का प्रतीक है? 1

    प्र.11 ककसी एक प्रश्न का उत्तर ललखखए: (5)

    [क] पावस ऋतु में प्रकृनत में कौन-कौन-से पररवतणन आत ेहैं? क्या आपन ेभी ककसी पवणतीय क्षते्र की यात्रा की है? अनुभव के आधार पर ललखखए?

    [ख] कवव की यह प्राथणना अन्य प्राथणना गीतों से अलग है? यदद हााँ तो कैसे? क्या हमें प्रनतददन प्राथणना करनी चादहए?

    प्र.12 ककसी एक प्रश्न का उत्तर ललखखए: 5.

    [क] ‘ पे्रम न माने जात कुजात, भूख न जाने खखचड़ी में भात’-----पंप्क्त से कौन-से जीवन मूल्य प्रकट होत ेहैं?

    [ख] हररहर काका के गााँव में यदद मीडडया की पहुाँच होती, तो उनकी क्या प्स्थनत होती? अपने शब्दों में ललखखए I

    खिंड-‘घ’ (लेखन)

    प्र.13 ननम्नललखखत ववषर्ों में से ककसी एक ववषर् पर हदए गए सिंकेत बब िंदओुिं के आधार पर लगभग 80-100 शब्दों में अनचु्छेद ललखखए | (5)

    (1) आधुननक िीवन में मोबाइल * वतणमान समय में मोबाइल की महत्ता * मोबाइल फोन द्वारा प्रातत होने वाली सवुवधाएाँ * मोबाइल फोन से होने वाले नकुसान

    अथवा (2) शारीररक लशक्षा और र्ोग

    * अथण एव ंमहत्त्व * शारीररक लशक्षा और योग * प्रभाव और अच्छे पररर्ाम (3) आाँखों देखी दघुयटना * कहााँ और कैस े* दघुणटना की गम्भीरता * आपके द्वारा ककया गया योगदान

    प्र.14 ह िंदी की अध्र्ावपका का पद पूरा करन ेके ललए प्रधानाचार्य िी को प्राथयना-पत्र ललखखए I (5) अथवा

    परीक्षा के समर् बबिली की कटौती की लशकार्त करत े ुए क्षेत्रीर् ववदरु्त अधधकारी को पत्र ललखखए I

  • प्र.15 ‘ह िंदी भाषा के म त्व’ के ववषर् में दो छात्रों के मध्र् ोने वाले सिंवाद को लगभग 50 शब्दों में ललखखए I

    अथवा (5) परीक्षा के पूवय दो छात्रों के बीच ुए सिंवाद ललखखए I प्र.16 आप दसवीिं कक्षा की छात्रा ववभा िैन ैं I आपका खेल का सामान गुम ो गर्ा ै I इसकी सूचना देत े ुए 25-50 शब्दों में सूचना ललखखए I अथवा (5)

    समाचार पत्र के सिंपादक की ओर से ककसी उत्पाद की गुर्वता के ललए समाचार-पत्र समू के जिम्मेदार न ोने की सूचना देत े ुए एक वैधाननक सूचना ललखखए I

    प्र.17 हदल्ली सरकार की ओर से हदल्ली को रा-भरा ओर स्वच्छ बनाने ेतु एक ववज्ञापन तैर्ार (5)

    कीजिए I अथवा

    बािार में एक नर्ा मोबाइल आर्ा ै, म ीने चलती ै :जिसकी बैटरी बबना चािय के छ I इसके ललए एक 25-50 शब्दों में ववज्ञापन तैर्ार कीजिए I

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    MARKING SCHEME ह िंदी उत्तरमाला

    खिंड-‘क’(अपहित बोध)

    1. [क] िनता दवारा, िनता के ललए, िनता का शासन भारतीर् सिंववधान का मूल उद्देश्र् ै I 2.

    [ख] नागररकों के ललए मौललक अधधकारों की स्पष्ट वर्ाख्र्ा करता ै I धमयननरपेक्ष राष्र ोने के कारर् धमय के प्रचार/पालन की स्वतिंत्रता, मतदान का अधधकार, प्रत्रे्क स्त्री-पुरुष को समान अधधकार,धमय,िानत, रिंग-भेद आहद के आधार पर भेदभाव न बरतना आहद की इसमें स्पष्ट वर्ाख्र्ा की गई ै I भारतीर् सिंववधान ललखखत ोत े ुए भी सिंशोधन के र्ोग्र् ै I 2.

    [ग] सिंववधान में नागररकों को मतदान का अधधकार हदर्ा गर्ा ै I इस अधधकार का प्रर्ोग करके वे सरकार के प्रनतननधध चुनकर शासन के सिंचालन में भाग ले सकत े ैं I 2.

  • [घ] सिंसद के दो-नत ाई सिंसद के ब ुमत से सामान्र् ननर्म की तर सिंसद के साधारर् ब ुमत से कुछ साधारर् कुछ साधारर् सिंशोधन कराए िा सकत े ैं I लेककन म त्वपूर्य सिंशोधनों के ललए आधे राज्र्ों की पुजष्ट भी िरूरी ै I 2.

    [ङ] भारतीर् सिंववधान I 1.

    2. [क] प्रस्तुत कावर्ािंश में वषाय ऋतु का वर्यन ै िब आकाश में चारों ओर मेघ छा गए ैं और मानव व प्रकृनत प्रसन्न ोकर अपने – अपने तरीके से उसका स्वागत करत े ैं I 1.

    [ख] बर्ार चलने पर लोगों ने प्रसन्न ोकर अपनी खखड़ककर्ााँ-दरबािे खोल हदए I जिस प्रकार 2.

    श र से कोई मे मान आने पर गााँव के लोग उस के स्वागत में पलकें बबछा देत े ैं, उसी प्रकार लोग बर्ार का स्वागत कर र ें ैं I

    [ग] मेघों के आगमन पर शीतल वा चलने लगी I पेड़ झूमने लगे I नदी के प्रवा में एक नर्ा 2.

    िोश आ गर्ा I बूढ़े पीपल ने उनका स्वागत ककर्ा I

    [घ] बरसात I 1.

    खिंड–‘ख’ (वर्व ाररक वर्ाकरर्)

    प्र.3 (क) वर्ों के साथयक ध्वनन समू को शब्द क त े ैं –िैसे ; फूल, कमल, बालक इत्र्ाहद ै I 1

    (ख) कोई 1.

    4. ननदेशानुसार वाक्र् रूपािंतरर् कीजिए: 1x3=3

    (क) संयुक्त वाक्य I 1.

    (ख) जैसे ही मैं स्टेशन पर पहुाँचा वैसे ही गाड़ी चल दी I 1.

    (ग) बादलों के छाँटत ेही सूयण ननकल आया I 1.

    5. ननदेशानुसार उत्तर दीजिए: 1x4=4

    (क) ‘पथ से भ्रष्ट’ = अपादान तत्पुरुष समास I 1.

    (ख) ‘म ान ै िो देव’ = कमयधारर् समास I 1.

    (ग) “चौरा ा” = दववगु समासI 1.

    (घ) “आिकल” = दविंदव समासI 1.

    6. 1x4=4

    (क) म ने आप से क ा था I 1.

  • (ख) गीतों की एक ककताब ला दीजिए I 1.

    (ग) प्रधानमिंत्री मोदी ने स्वतिंत्रता हदवस की घोषर्ा की I 1.

    (घ) बच्चों में सच बोलने की आदत डालनी चाह ए I 1.

    7. उधचत मु ावरे से ररक्त स्थान भररए: 1x2=2

    (क) अत्यंत पररश्रम करन ेके बाद भी आतंकवादी पुललस के हाथ न आया I 1.

    (ख) जायदाद के ललए मामा जी ने बाप बेटे के बीच दीवार खड़ी कर दीI 1

    खिंड-‘ग’ (पाठ्र्पुस्तक से)

    प्र.8 ननम्नललखखत प्रश्नों के उत्तर ललखखए: 2+2+1

    [क] सवार के िाने के बाद कनयल क्का-बक्का इसललए र गर्ा क्र्ोंकक सवार और कोई न ीिं, स्वर्िं विीर अली थाI सवार कनयल को बेवकूफ बनाकर उससे दस कारतूस भी ले गर्ा I कनयल देखता र गर्ा I

    [ख] िापान में चार् पीने की ववधध को ‘टी-सेरेमनी’ [चा-नो-रू्] क ा िाता ै इस में तीन वर्जक्तर्ों को प्रवेश हदर्ा िाता ै I इस सेरेमनी में शािंनत का ब ुत म त्त्व ोता ै, इसललए अधधक लोगों को प्रवेश न ीिं हदर्ा िाता

    [ग] कार -ननकोबार के दो टुकड़ े ो िाने के पश्चात दवीप पर र् पररवतयन आर्ा कक अब ननकोबारी दसूरे गााँव में वैवाह क सिंबिंध बना सकत ेथे I

    प्र.9. ‘धगरधगट’ क ानी के माध्र्म से समाि की ननम्नललखखत ववसिंगनतर्ों पर वर्िंग्र् ककर्ा ै- [5.]

    ---शासन वर्वस्था की खालमर्ों के कारर् चापलूस ककस्म के वर्जक्त शासन पर अपना कब्ज़ा िमा लेत े ैं I आचुमेलॉव इसी का प्रतीक ै I ---समाि में ननरी पशुओिं के प्रनत अन्र्ार् ककर्ा िाता ै I ---उच्च---वगय की गलनतर्ों को निरअिंदाि ------- िाता ----- ै I म भी समाि – कई ववसिंगनतर्ााँ---- ैंi ---समाि में जस्त्रर्ों के सम्मान की बात तो ब ुत की िाती ै, पर वास्तव में उनका शोषर् ककर्ा --- ैi उन् ें स्वतिंत्र िीवन िीने न ीिं – िाता--- बालश्रम पर भी ववसिंगनत देखने---------- ै उनसे पढ़ाई और मनोरिंिन----- क छीना--- ै I इन ववसिंगनतर्ों का ननराकरर् शासन वर्वस्था में सुधार लाकर, जस्त्रर्ों को उनका सम्मान--,सवयलशक्षा अलभर्ान को सख्ती से लाग ूकरके, मुफ़्त लशक्षा र वगय के लोगों को -----------ककर्ा ---- ै I

    अथवा

    * ननदेशन * कफल्मािंकन * पट कथा लेखन, सिंवाद लेखन, गीत लेखन

    शेष छात्र अपनी रूधच कारर् सह त I

    प्र.10 [2+2+1]

    [क] कवव ने सबसे बड़ा वववेक ‘मनुष्र् मात्र बिंधु’ को क ा ै क्र्ोंकक सभी प्राखर्र्ों का परम-वपता एक ी ै अथायत ्सभी आपस में भाई-भाई ैं, र् सिंसार एक ी पररवार ै, सभी एक ी ईश्वर की सिंतान ै I

  • [ख] बब ारी कवव के अनुसार ईश्वर का वास सच्च ेहृदर् में ोता ै अथायत ्जिस वर्जक्त के मन में सच्ची भजक्त ै, लग्न ै, श्रद्धा ै -----कवव के अनुसार ईश्वर का वास उसी के हृदर् में ोता ै I

    [ग] मान-सम्मान [अलभमान]

    प्र.11 ककसी एक प्रश्न का उत्तर ललखखए: 5.

    [क] पावस ऋत ुमें प्रकृनत नए-नए रूपों में मारे सामन ेआती ै I रिंग-बबरिंगे फूल खखल िात े ैं I तालाब स्वच्छ और पारदशी पानी स ेभर िाते ैं I धरती गीली ो िाती ै I पवयतों के पास के तालाबों में उनका प्रनतबबिंब हदखाई देने लगता ै I शाल के वकृ्ष बादलों के बीच धाँस-ेसे िान पड़ते ैं I शेष छात्र अपनी मनतनुसार ललखें I

    [ख] --- अन्र् प्राथयना गीतों में प्रभु स ेसभी कष्टों को दरू करन ेकी प्राथयना की िाती ै इसमें कवव स्वर्िं कष्ट झलेना चा ता ै -----अन्र् प्राथयना गीतों में भक्त प्रभु का केवल गुर्गान करता ै I ---समस्र्ा का ल प्रभु पर छोड़ देता---- इसमें कवव स्वर्िं---------- समस्र्ा ------ ल -------चा ता ै I -----इस प्राथयना -----कवव आत्मसम्मानी----- ै I

    छात्र स्वर्िं करें I

    प्र.13. [क] प्रस्तुत पिंजक्त स ेिीवन मलू्र् ............ ैं कक िब ककसी को भखू लगी ............ ै तो उसी के सामने िो भी परोस हदर्ा िाता ै, व उसी को खा िाता ै I र् ी दशा ककसी प्रेम करने वाले की ोती ै, उसे र् ााँ से प्रेम और ममता लमलती ै उसी ओर बरबस आकवषयत ोता ै I उसे अपना मानने लगता ै I व र् न ीिं िनता ै कक जिसे व प्रेम कर र ा ै उसकी िानत क्र्ा ै, र न-स न क्र्ा ै, रीती-ररवाि क्र्ा ै, सामाजिक स्तर क्र्ा ै, इसका उदा रर् पाि का मुख्र् पात्र टोपी ै, िो 70 साल की दादी ओर नौकरानी सीता में ी ममत्व, अपनत्व तथा प्रेम ढूाँढ़ता ै I [5]

    अथवा

    [ख] मीडडया का समाज में एक ववशेष स्थान है I आज मीडडया समाज की हर घटना लोगों के सामने लाने की कोलशश कर रही है I लमडडया ने कई असहाय, अपंग, वदृ्ध, मानलसक रूप से कमजोर लोगों की ररपोदटिंग करके उनके जीवन की समस्याओं का समाधान ककया है I शेष छात्र अपनी मनतनुसार ललखें I

    खिंड : घ

    उत्तर -13 प्रस्तुनत कौशल 2 ववषय वस्तु 2 भाषा 1

    उत्तर -14 ववषय वस्तु 2 भाषा 1

    उत्तर -15 ववषय वस्तु 2 भाषा 1 प्रस्तुनत 2

  • उत्तर -16 ववषय वस्तु 2 भाषा 1 प्रस्तुनत 2

    उत्तर -17 ववषय वस्तु 2 भाषा 1 प्रस्तुनत 2

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